रायपुर। पूर्व मंत्री और भाजपा के विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने कहा है कि असंगठित और संगठितों श्रमिकों के 540 करोड़ रुपए बैंकों में जमा है मगर छत्तीसगढ़ की सरकार ने उन के लिए चलाई जा रही सभी योजनाएं बंद कर दी हैं। उन्होंने सरकार की नोनी योजना को भी केंद्र की पुरानी योजना बताया।
मीडिया से चर्चा करते हुए बृजमोहन अग्रवाल ने कहा कि इस सरकार के पास कोई काम नहीं बचा है पहले केन्द्र की योजनाओं को बंद करते हैं, उसके बाद फिर उसे दूसरे नाम से चालू करते हैं। उन्होंने नोनी योजना को केन्द्र की पुरानी योजना बताया, जिसमें लड़की के जन्म पर 20 हजार रुपए जमा किया जाता था और उसके 18 वर्ष के होने के उपरांत लड़की के खाते में 1 लाख रुपए आ जाते थे। जेनरिक मेडिकल स्टोर्स भी केंद्र की ही योजना है।
भाजपा शासन काल में श्रमिकों को लेकर 36 योजनाएं चलती थीं जिसमें श्रमिको को विभिन्न मदों के लिए पैसे मिलते थे। इस सरकार ने योजनाओं को बंद कर दिया है। उसी तरह 400 करोड़ से ज्यादा रुपए मंडी बोर्ड का जमा किया गया है, इससे मंडी का विकास और किसानों को मिलने वाली सुविधा बंद कर दी गई है। उन्होंने कहा कि केन्द्र की योजना के तहत महिलाओं को मुफ्त गैस कनेक्शन मिलता था। इस सरकार ने उसे भी बंद करवा दिया। अब मुख्यमंत्री उत्तराखंड में 500 रुपए में गैस सिलेंडर दिलाने की बात कर रहे हैं। अच्छा तो यह होता कि छत्तीसगढ़ एवं कांग्रेस शासित प्रदेशों में किसी योजना को कांग्रेस लागू करती, उसके बाद दूसरे राज्यों में चुनावी वायदे करती।
अग्रवाल ने 5 दिन वर्किंग डे पर कहा कि विकासशील राज्य में ऐसा करने से जनता को कोई भी फायदा नहीं होगा। सरकार ने कर्मचारियों को खुश करने के लिए सप्ताह में 5 दिन शासकीय कार्यालय खोलने की घोषणा की है। इससे कर्मचारी तो खुश हो जाएंगे लेकिन जनता के काम नहीं होंगे। वास्तव में यह सरकारी कर्मचारी की समस्या का समाधान नही है, इस दो दिन की सप्ताहिक छुट्टी से ज्यादा अच्छा होता कि वे सरकारी कर्मचारियों की डीए की मांग देने पर विचार करते।
Report Raipur Bureau-Joy Fernandes.