
राज्यपाल के नाम ज्ञापन 7 बिंदु पर मांग …
बीजापुर ब्यूरो: जिला मुख्यालय में बरसते पानी में सैकड़ों ग्रामीण पहुंचे थे जिला मुख्यालय अपनी मांगों को लेकर जिसमें राज्यपाल के नाम ज्ञापन व 7 बिंदुओं पर मांग रखी गई थी। डिप्टी कलेक्टर उमेश पटेल ने ग्रामीणों से ज्ञापन लिया वह आश्वस्त किया कि उनकी बातों को वे उच्च अधिकारियों तक पहुचाएंगे ।
बेकसूर छात्रों व ग्रामीणों को बंधक बनाकर जेल में डाला जा रहा है…
आदिवासी ग्रामीणों ने अपने ज्ञापन में प्रमुखता से लिखा है कि पुलिस जवानों के द्वारा माओवादी उन्मूलन के नाम से दिनों दिन गश्त अभियान चलाकर निर्दोष ग्रामीणों को अपना शिकार बना रही है । वहीं बेकसूर छात्रों व ग्रामीणों को बंधक बनाकर जेल में डाल रहे हैं साथ ही उन्होंने अन्य और भी बातें लिखी है जिसमें प्रमुख रुप से उन्होंने लिखा है कि कैसे फर्जी केस में ग्रामीणों को लंबे समय से जेल में रखा गया है और उन पर कई और केस लगाए जा रहे हैं । जेल में खाने-पीने व कपड़े लत्ते की परेशानियों को भी आवेदन में उल्लेख किया गया है केंद्र एवं राज्य सरकार के लापरवाही के कारण जेल में बंद, बंदिओं को आर्थिक परेशानियों का भी गंभीर सामना करना पड़ रहा है इस तरह की बातें लिखी हुई है ।
क्या है ग्रामीणों की मांग ?

• निर्दोष ग्रामीणों के ऊपर डाले गए झूठे केस को रद्द करें
• माओवादी फर्जी केस के तमाम जेल बंदियों को बिना शर्त रिहा किया जाए
• सभी जेल बंदिओं को मैन्युअल नियम का पालन करते हुए सही समय पर खाना पीना कपड़ा लता दवाई शिक्षा टीवी रेडियो पेपर आदि तमाम व्यवस्थाएं समय पर उपलब्ध कराई जाए
• संविधान मुताबिक बंदिओं को परिवार का सामूहिक मुलाकात वकील मुलाकात समय में दिया जाए
• आदिवासी जेल बंदियों को आजीवन कारावास उम्र सजा अत्याचार हत्या करने वाले नीति को बंद करें
• निर्दोष आदिवासियों को माओवादियों के नाम से करके जेल में डालना बंद करें
• निर्दोष आदिवासी जेल बंदियों को दोबारा माओवादी फर्जी केस डालकर आर्थिक पारिवारिक स्थिति को लूटने वाला नीति है बंद किया जाए

रैली में आए ग्रमीणों ने कहा कि कांग्रेसी सरकार के भूपेश बघेल ने कहा था कि आदिवासियों के छोटे-मोटे केस को रद्द कर उन्हें रिहा किया जाएगा परंतु आज पर्यंत इस पर कोई विचार नहीं किया गया। 30 अगस्त को गाँव से आधार कार्ड बनाने आए 4 युवक को पुलिस ने संजय किराना दुकान के पास से पकड़ा और झूठा प्रचार किया कि उन्हें चेरपाल के जंगल से पकड़ा उनके पास से माओवादी सामान बैनर पोस्टर डेटोनेटर मिला जबकि ऐसा नहीं है उन्हें चाय पिलाने के नाम पर पुलिस लेकर गई और जेल में डाल दी।
यह ग्रामीण गंगालूर क्षेत्र के अलग-अलग गांव से आए थे मेटापाल ,एड्समेटा,पालनार,सवनार,तोड़का,मनकेलि गोरना,मुनगा, गमपुर,आसपास के अंदरूनी ग्रामीण क्षेत्र से पहुंचे थे ।
ब्यूरो रिपोर्ट बीजापुर : नितिन रोकड़े