कोण्डागाँव ब्यूरो: कालातीत दवाइयों को मरीजो को वितरित करने की शिकायत पर मामले को जानने पहुंचे पत्रकार पर दबाव बनाने के उद्देश्य से बीएमओ व स्टाफ़ द्वारा आनन फानन में थाना पहुँच लिखित जातिसूचक शब्द कहने का आरोप लगाते आवेदन दिया गया है। लेकिन मामला अब उलझने लगा है क्योंकि पत्रकार ने कवरेज से पहले मुख्य चिकित्सा अधिकारी कोण्डागाँव एसडीएम केशकाल व अन्य आला अधिकारियों को पूर्व ही सूचित कर दिया था,वही कवरेज के दौरान पत्रकार ने लगातार अपना कैमरा चालू रखा था,वहीं मौके पर खुद तहसीलदार विश्राम पूरी मौजुद हो कार्यवाही करते कैमरे में भी नजर आ रहे है,जिससे अब मामला उल्टे प्रशासनिक अधिकारी पर भारी पड़ता नजर आ रहा है।
जिले भर के पत्रकारों ने पहुंच किया आंखों में काली पट्टी बांध मौन विरोध प्रदर्शन…
वही मामले पर दुर्भावना पूर्ण तरिके से किये जा रहे शिकायत की जानकारी पर आज गुरूवार 20 मई को विश्रामपूरी पहुंच जिले के पत्रकारों ने मामले पर बीएमओ कार्यालय के सामने कोरोना गाइडलाइन का पालन करते अपनी आंखों में काली पट्टियां बांध बीएमओ व उनके स्टाफ़ द्वारा झूठी शिकायत के विरोध में मौन विरोध प्रदर्शन करते मामले की निष्पक्ष जांच कर प्रतिशोध वश झूठी रिपोर्ट करने वालों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग किया गया है।
साथ ही कोंडागांव प्रेस क्लब के पत्रकारों ने कालातीत दवाइयां देकर मरीजो के जीवन को खतरे में डालने वाले कर्मचारियों के खिलाफ स्वास्थ्य विभाग व जिला प्रशासन तथा दुर्भावनावश झूठी रिपोर्ट दर्ज कराने वालों के खिलाफ पुलिस को अपराध दर्ज कर नियमानुसार कानूनी कार्रवाई करने आवेदन सौपा है।
जानिए क्या है पूरा मामला…
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र विश्रामपुरी में कोविड 19 के मरीजों को एक्सपायरी डेट वाली दवा वितरण करने की जानकारी मिलने पर इसकी सूचना जिला चिकित्सा अधिकारी सहित वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारियों को जानकारी देकर 19 मई को पत्रकार सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र पंहुचा। स्वास्थ्य केंद्र में सुबह लगभग 9:15 बजे तक ओ.पी.डी में कोई भी कर्मचारी और डाक्टर नहीं थे जबकि ओ.पी.डी खुलने का समय सुबह 9 बजे निर्धारित है। इसके बाद एक्सपायरी डेट मरीजों को वितरण किये जाने की पुष्टि के लिए मरीज एवं उसके परिवार जन से जानकारी लेकर उनका विडियोग्राफी किया गया। जिसमे मरीज के पिता ने एक्सपायरी डेट की दवा देने की बात बकायदा कैमरे के सामने बताते हुए दवा भी दिखा दिया। इसी दरम्यान तहसीलदार भी स्वास्थ्य केंद्र पंहुच गये और उनके पूछताछ में भी यह प्रमाणित हो गया की एक्सपायरी डेट की दवा वितरण किया जा रहा है।
जिसके बाद उक्त पत्रकार द्वारा खंण्ड चिकित्सा अधिकारी यू.एन.ध्रुव से कैमरे पर कथन रिकार्ड किया गया जिसमें भी उन्होंने कर्मचारियों के समय पर न आने और एक्सपायरी डेट की दवा बांटे जाने की बात को स्वीकारते हुए जांच कर कार्रवाई करने की बात कही। समाचार संकलन कर सभी के कथन की रिकार्डिंग करके पत्रकार वापस लौट आया। उसके बाद स्वास्थ्य केंद्र के कर्मचारियों एवं डाक्टरों में हड़कंप मच गया और पत्रकार पर ही आरोप मढकर फंसाने का कुचक्र रचा गया। आपस में सलाह मशविरा कर एक राय होकर पत्रकार को गंभीर आपराधिक मामले में फंसा देने की मंशा से खंण्ड चिकित्सा अधिकारी व उनकी एक महिला कर्मचारी के द्वारा अलग अलग दो लिखीत शिकायत पत्र पुलिस थाना बिश्रामपुरी में प्रदान किया गया। इस बात की जानकारी मिलने पर विश्रामपुरी के लोगों में और पूरे मामले की जानकारी रखने वाले ग्रामीणों ने घोर आश्चर्य व्यक्त करते इस दुर्भावनापूर्ण शिकायत की निन्दा करते मामला जन चर्चा का विषय बन गया है, वही पत्रकारों में भी मामले को लेकर नाराजगी दिखी।
ब्यूरो रिपोर्ट कोंडागांव : विकास ललवानी