अखिल भारतीय किसान महासभा के जिला अध्यक्ष बीरज नाग ने प्रेस विज्ञप्ति जारी कर केंद्र सरकार द्वारा रासायनिक खादों (उर्वरकों) के मूल्य वृद्धि किए जाने की कड़ी निंदा करते हुए कहा है कि किसानों पर अत्याचार बंद करे केंद्र सरकार। वैसे भी वर्तमान समय कोविड -19 संक्रमण का है और कोविड-19 के चलते संपूर्ण देश में हाहाकार मचा हुआ है। कृषि अर्थव्यवस्था पूर्ण रूप से चैपट हो चुकी है और किसानों की स्थिति अत्यंत दयनीय हो चुकी है। कोविड-19 के चलते किसानों को अपने उत्पादों का उचित मूल्य नहीं मिल पा रहा है। एक तरफ केंद्र सरकार द्वारा किसान बिल लाए जाने से किसान अपने आप को असुरक्षित महसूस कर रहे हैं और उनके सामने जीवनयापन को लेकर विकट स्थिति उत्पन्न हो चुकी है। एक तरफ कृषि कार्य में उपयोग में लाए जाने वाले कृषि उपकरण का मूल्य आसमान छू रहा है। पेट्रोलियम पदार्थों के मूल्य में वृद्धि होने से कृषि लागत बढ़ चुका है। ऐसी स्थिति में केंद्र सरकार द्वारा रासायनिक खादों (उर्वरकों) के मूल्य में वृद्धि किया जाना कहां तक उचित है। केंद्र सरकार ने रासायनिक खादों (उर्वरकों) के मूल्यों में काफी वृद्धि की है, जिससे डीएपी, यूरिया व अन्य रासायनिक खादों की मूल्य में 50 प्रतिषत से भी अधिक वृद्धि की गई है, जिससे कृषि कार्य प्रभावित होने की पूर्ण संभावना है। एक तरफ कोविड-19 के चलते पूरी कृषि अर्थ व्यवस्था चैपट हो चुकी है, वहीं दूसरी तरफ केंद्र सरकार द्वारा रासायनिक खादों के मूल्य में वृद्धि किए जाने से किसान पूर्ण रूप से हताश हो चुके हैं। अखिल भारतीय किसान महासभा कोण्डागांव ने केंद्र शासन से मांग की है कि रासायनिक खादों के मूल्य में किए गए वृद्धि को तत्काल वापस ले व तीनों कृषि बिलों को वापस लेकर किसानों के हित में कार्य करें यदि केंद्र सरकार द्वारा रासायनिक खादों के मूल्य में किए गए वृद्धि को तत्काल वापस नहीं लिया जाता है, तो अखिल भारतीय किसान महा सभा केंद्र शासन के खिलाफ आंदोलन करने के लिए बाध्य हो जाएगी, जिसकी पूर्ण जिम्मेदारी केंद्र शासन की होगी।
ब्यूरो रिपोर्ट कोंडागांव : विकास ललवानी